सोमवार, 16 जून 2014

पिता का दर्द

पिता का मूल्याङ्कन
मै एक पिता हूँ
इसलिए अब जानता हूँ
क्या होता है
पिता होने का दर्द

मेरे पिता भी मेरी तरह
छानते रहे  खाक इस शहर में
खोजते रहे मकान
बार बार बदलते हुए
फिर नौकरी भी .......
क़र्ज़ में रहे डूबे ज़िन्दगी भर
देखते रहे एक सपना 
बच्चों को  बड़ा आदमी  बनाने का
जिस तरह  देखना लगा हूँ
मै भी  एक सपना...

मेरी तरह बीता था  
उनका भी  बुढ़ापा बहुत  कष्ट में
मेरी तरह उन्हें भी जुकाम था 
मधुमेह भी कंधे में दर्द भी 
इसलिए ठीक ठीक जाना  अपने पिता को
पिता बन ने के बाद ही

दुःख मुझे है
कि नहीं जान पाया था अपने पिता को
पूरी  तरह उनके जीते जीते
क्या मेरे मरने के बाद ही  होगा 
मेरा  भी   मूल्याङ्कन
 एक पिता के रूप में 
मै भी कहाँ कर पाया
अपने पिता का मूल्याङ्कन
 उनके जीती जी .

मुझे लगता  है
पिता एक ऐसा शब्द है
जो आज तक नहीं बदला
जिस तरह माँ भी नहीं बदली कभी
जबकी बहुत चीज़ें बदल गयीं 

इस दुनिया के बदल जाने के बाद .

मै एक पिता हूँ दो जवान बेटियों का 
जिनकी नहीं हो पा रही  है शादी 
मै एक पिता हूँ 
उन बेटों का जिनहे नहीं मिल पा रही है  नौकरी 

मुझसे अधिक 
पिता होने का दर्द 
कौन जान सकता है 
इस दुनिया में बेटा.!

क्या तुम मुझे बता सकते हो 
दुनिया के किस अस्पताल में है इलाज़ 
 किसी पिता के दर्द का .

विमल कुमार .


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